
बरगदपुर गाँव की वह कहानी सुनिए, जहां हर शाम सन्नाटा पड़ता तो अजीबोगरीब रहस्य उजागर होते थे। एक युवक विराज की अचानक गायब होने की घटना ने पूरे गाँव को दहशत में डाल दिया। अचानक से विराज की गुमशुदगी ने न सिर्फ लोगों के मन में डर भर दिया बल्कि अंधविश्वास और काले जादू के चक्रव्यूह में भी पिरो दिया।
विराज के исчезने के बाद, कई लोग उसकी तलाश में निकले पर वे भी बिना पता चले गायब हो गए। गाँव में सुबह से लेकर रात तक अजीब सी आवाज़ें और परछाइयों का आना जाना हर किसी को डराने लगा। एक बुजुर्ग स्त्री की मौजूदगी, जिसकी आँखों में अजीब सी चमक थी, उसे काले जादू की जानकार बताया गया। एक पुरानी किताब भी मिली जिसमें ऐसे मंत्र थे जो आत्मा को पकड़ने की क्षमता रखते थे।
खास बातें:
- विराज की गुमशुदगी से शुरू होने वाले डर और शक की परतें।
- काले जादू और पंथ-पुरीतियों से जुड़ी कथाएं।
- अजीब आवाजें, खामोशी, और रहस्यमयी परछाइयाँ।
- मंदिर के तहखाने में मिली अशुभ किताब।
- गाँव के लोगों की लगातार बढ़ती आशंकाएं।
एक रात, जब चाँद भी छिपा हुआ था, गाँव में एक कर्कश चीख़ गूँजी और अजीब सन्नाटा छा गया। वापस जो आया वह विराज नहीं, बल्कि एक अधूरा साया था। यह सवाल बरकरार है कि क्या विराज वास्तविकता से गायब हुआ या किसी प्राचीन काले जादू के जाल मे फंसा रहा?
रहस्य अभी भी बरगदपुर की हवाओं में तैर रहा है और गाँव के लोग डर के साये में जीने को मजबूर हैं। यह कहानी सिर्फ एक गायब होने की दास्तान नहीं, बल्कि एक खौफनाक यथार्थ है जिसे समझ पाना आसान नहीं।
सारांश:
बरगदपुर गाँव में एक युवक विराज की अचानक गायब होने की घटना से शुरू हुआ काला जादू और रहस्यमयी घटनाओं का श्रृंखला मौजूद है। गाँव में भय और शक के माहौल को बढ़ाते हुए इस घटना ने प्राचीन रहस्यों को उजागर किया जो आज भी लोगों को डरा रहा है।